सचिन यादव नई दिल्ल� | Oct 09, 2012,
छूट संभव - बिजली यूनिट के स्लैब में बढ़ोतरी की जा सकती
है। इस बढ़ोतरी के बाद अब तक 200 यूनिट तक बिजली की खपत करने वाले
उपभोक्ताओं के बिल में अधिकतम 20 फीसदी तक और 300 यूनिट से अधिक प्रयोग
करने वाले लोगों को 5 फीसदी तक बिजली बिल कम आ सकता है।
महंगी बिजली और मनमाने बिजली बिलों से जूझती दिल्ली की जनता को जल्द ही थोड़ी राहत मिल सकती है। बिजली उपभोक्ताओं को राहत देने के लिए बिजली टैरिफ स्लैब में निश्चित यूनिट की संख्या में बढ़ोतरी की जा सकती है।
अगर दिल्ली सरकार 200 यूनिट से ऊपर उपभोग करने वाले उपभोक्ताओं को सब्सिडी देती है तो और भी अधिक राहत मिल सकती है। दिल्ली विद्युत विनियामक आयोग (डीईआरसी) के चेयरमैन पी.डी.सुधाकर ने सोमवार को बताया कि बिजली यूनिट के स्लैब में बढ़ोतरी की जा सकती है।
इस बढ़ोतरी के बाद अब तक 200 यूनिट तक बिजली की खपत करने वाले उपभोक्ताओं के बिल में अधिकतम 20 फीसदी तक और 300 यूनिट से अधिक प्रयोग करने वाले लोगों को 5 फीसदी तक बिजली बिल कम आ सकता है।
सुधाकर ने बताया कि इस बाबत आयोग बाद में एक बैठक बुलाकर फैसला करेगा। उन्होंने बताया कि पॉवर परचेज के तहत हर तीन महीने बाद होने वाली बढ़ोतरी भी शायद इस बार न हो क्योंकि अब तक पॉवर परचेज का रुझान देखते हुए यही कहा जा सकता है। पॉवर परचेज के हिसाब से बिजली टैरिफ में बढ़ोतरी करने को लेकर डिस्कॉम कंपनियों ने अब तक कोई आवेदन नहीं किया है।
सोमवार को बिजली यूनिट के स्लैब को लेकर होने वाली मीटिंग विरोध-प्रदर्शन के कारण टल जाने पर उन्होंने कहा कि आयोग के सभी सदस्यों के सलाह मशविरा के बाद अगली जनसुनवाई कब आयोजित की जाए, इस पर फैसला किया जाएगा। इस बात पर भी उन्होंने जोर दिया कि दिल्ली में घरेलू बिजली की दरें आज भी काफी सस्ती हैं।
अरविंद केजरीवाल ने कहा, भाजपा को सब पता था
बिजली टैरिफ में बढ़ोतरी को लेकर डीईआरसी के बाहर प्रदर्शन करते हुए अरविंद केजरीवाल ने भाजपा पर आरोप लगाते हुए कहा कि बिजली टैरिफ से संबंधित सारी जानकारी भाजपा प्रदेश अध्यक्ष विजेन्द्र गुप्ता के पास थी।
डीईआरसी ने यह जानकारी भाजपा प्रदेश अध्यक्ष को मई 2010 में ही मिल गई थी जिसमें बिजली टैरिफ घटाने का प्रस्ताव था। ऐसे में जब दो साल से भी अधिक का समय बीत गया तब भाजपा अब नींद से जागी है।
बिजली टैरिफ पर भाजपा और कांग्रेस दोनों राजनीति कर रही हैं। शायद डीईआरसी के अधिकारियों ने सपने में भी नहीं सोचा होगा कि बड़ी संख्या में लोग प्रदर्शन करेंगे। आईएसी के समर्थक तिरंगों के साथ डीईआरसी हाय-हाय, चेयरमैन हाय-हाय करते रहे।
इस दौरान कई बार आईएसी के समर्थकों ने पुलिस को चकमा देकर अंदर घुस गए। करीब सौ से अधिक लोगों ने गलत बिजली बिलों के बारे में सड़क पर ही लोगों को जानकारी दी। पुलिस वीडियो ग्राफी :दिल्ली पुलिस के आला अधिकारियों के पहुंचने के बाद दिल्ली पुलिस से जुड़ा कर्मचारी सिविल ड्रेस में वीडियोग्राफी में लगा रहा।
एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि ऐसे आयोजनों के समय कई बार कुछ उपद्रवी बवाल करते हैं। ऐसे अराजक तत्वों से निपटने के लिए वीडियोग्राफी की जा रही है। जिन सड़क पर ट्रैफिक पुलिस का कभी नामोनिशां नहीं होता था आज वहां ट्रैफिक पुलिस की लगी हुई थी। मालवीयनगर में अरविंदो कॉलेज से लेकर शिवालिक तक की रोड पूरी तरह से ट्रैफिक जाम में फंस गई।
http://business.bhaskar.com/article/low-power-consumption-possible-relief-to-those-in-delhi-3896038.html
महंगी बिजली और मनमाने बिजली बिलों से जूझती दिल्ली की जनता को जल्द ही थोड़ी राहत मिल सकती है। बिजली उपभोक्ताओं को राहत देने के लिए बिजली टैरिफ स्लैब में निश्चित यूनिट की संख्या में बढ़ोतरी की जा सकती है।
अगर दिल्ली सरकार 200 यूनिट से ऊपर उपभोग करने वाले उपभोक्ताओं को सब्सिडी देती है तो और भी अधिक राहत मिल सकती है। दिल्ली विद्युत विनियामक आयोग (डीईआरसी) के चेयरमैन पी.डी.सुधाकर ने सोमवार को बताया कि बिजली यूनिट के स्लैब में बढ़ोतरी की जा सकती है।
इस बढ़ोतरी के बाद अब तक 200 यूनिट तक बिजली की खपत करने वाले उपभोक्ताओं के बिल में अधिकतम 20 फीसदी तक और 300 यूनिट से अधिक प्रयोग करने वाले लोगों को 5 फीसदी तक बिजली बिल कम आ सकता है।
सुधाकर ने बताया कि इस बाबत आयोग बाद में एक बैठक बुलाकर फैसला करेगा। उन्होंने बताया कि पॉवर परचेज के तहत हर तीन महीने बाद होने वाली बढ़ोतरी भी शायद इस बार न हो क्योंकि अब तक पॉवर परचेज का रुझान देखते हुए यही कहा जा सकता है। पॉवर परचेज के हिसाब से बिजली टैरिफ में बढ़ोतरी करने को लेकर डिस्कॉम कंपनियों ने अब तक कोई आवेदन नहीं किया है।
सोमवार को बिजली यूनिट के स्लैब को लेकर होने वाली मीटिंग विरोध-प्रदर्शन के कारण टल जाने पर उन्होंने कहा कि आयोग के सभी सदस्यों के सलाह मशविरा के बाद अगली जनसुनवाई कब आयोजित की जाए, इस पर फैसला किया जाएगा। इस बात पर भी उन्होंने जोर दिया कि दिल्ली में घरेलू बिजली की दरें आज भी काफी सस्ती हैं।
अरविंद केजरीवाल ने कहा, भाजपा को सब पता था
बिजली टैरिफ में बढ़ोतरी को लेकर डीईआरसी के बाहर प्रदर्शन करते हुए अरविंद केजरीवाल ने भाजपा पर आरोप लगाते हुए कहा कि बिजली टैरिफ से संबंधित सारी जानकारी भाजपा प्रदेश अध्यक्ष विजेन्द्र गुप्ता के पास थी।
डीईआरसी ने यह जानकारी भाजपा प्रदेश अध्यक्ष को मई 2010 में ही मिल गई थी जिसमें बिजली टैरिफ घटाने का प्रस्ताव था। ऐसे में जब दो साल से भी अधिक का समय बीत गया तब भाजपा अब नींद से जागी है।
बिजली टैरिफ पर भाजपा और कांग्रेस दोनों राजनीति कर रही हैं। शायद डीईआरसी के अधिकारियों ने सपने में भी नहीं सोचा होगा कि बड़ी संख्या में लोग प्रदर्शन करेंगे। आईएसी के समर्थक तिरंगों के साथ डीईआरसी हाय-हाय, चेयरमैन हाय-हाय करते रहे।
इस दौरान कई बार आईएसी के समर्थकों ने पुलिस को चकमा देकर अंदर घुस गए। करीब सौ से अधिक लोगों ने गलत बिजली बिलों के बारे में सड़क पर ही लोगों को जानकारी दी। पुलिस वीडियो ग्राफी :दिल्ली पुलिस के आला अधिकारियों के पहुंचने के बाद दिल्ली पुलिस से जुड़ा कर्मचारी सिविल ड्रेस में वीडियोग्राफी में लगा रहा।
एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि ऐसे आयोजनों के समय कई बार कुछ उपद्रवी बवाल करते हैं। ऐसे अराजक तत्वों से निपटने के लिए वीडियोग्राफी की जा रही है। जिन सड़क पर ट्रैफिक पुलिस का कभी नामोनिशां नहीं होता था आज वहां ट्रैफिक पुलिस की लगी हुई थी। मालवीयनगर में अरविंदो कॉलेज से लेकर शिवालिक तक की रोड पूरी तरह से ट्रैफिक जाम में फंस गई।
http://business.bhaskar.com/article/low-power-consumption-possible-relief-to-those-in-delhi-3896038.html